जालंधर
नगर निगम के नए कमिश्नर संदीप ऋषि के कार्यभार संभालते ही निगम परिसर में हंगामा खड़ा हो गया। जहां निगम प्रशासन नई उम्मीदों के साथ कमिश्नर का स्वागत कर रहा था, वहीं यूनियन नेताओं ने नाराजगी का बिगुल बजा दिया। कमिश्नर के चार्ज लेने के कुछ ही देर के भीतर निगम यूनियन ने जोरदार धरना-प्रदर्शन करते हुए हड़ताल की चेतावनी दी है। यूनियन के प्रधान बंटू सभ्रवाल के नेतृत्व में सैंकड़ों कर्मचारी नारेबाजी करते हुए मैदान में उतर आए। उनका आरोप था कि निगम प्रशासन ने मनमानी करते हुए आऊटसोर्स कर्मचारी किशन लाल को पक्का कर दिया है, जबकि सैकड़ों कर्मचारी वर्षों से पक्की नौकरी की प्रतीक्षा कर रहे हैं।
यूनियन नेताओं ने कहा कि जिस कर्मचारी को स्थायी किया गया है, वह वास्तव में माली है ही नहीं। वह ड्राइवर है और पौधों या बागबानी की जानकारी तक नहीं रखता। इसके बावजूद उसे पक्का कर दिया गया। यूनियन का कहना है कि यह फैसला दूसरे कर्मचारियों के साथ पक्षपात है, जिसे किसी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। धरने के दौरान कर्मचारियों ने सरकार और निगम प्रशासन दोनों के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। माहौल इतना गर्मा गया कि यूनियन नेताओं ने चेतावनी दे डाली कि अगर जल्द समाधान नहीं निकला तो निगम का पूरा कामकाज ठप्प कर देंगे। धरने में ड्राइवर एंड टैक्निकल यूनियन के प्रधान शम्मी लूथर, रिंपी कल्याण, राजन कल्याण, बाबा राज किशोर, मनदीप सिंह, गौरव, बैनी और हतेश नाहर समेत दर्जनों कर्मचारी शामिल हुए। पहले ही दिन नए कमिश्नर के सामने खड़ा हुआ यह विवाद दिनभर चर्चा का विषय रहा। यदि यूनियन अपनी चेतावनी पर हड़ताल करती है तो आने वाले दिनों में शहरवासियों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है।
सैकड़ों कर्मचारियों का भविष्य दाव पर : यूनियन
यूनियन नेताओं ने कहा कि निगम में इस समय लगभग 59 माली, 64 फिट्टर, 50 ड्राइवर और 20 जे.सी.बी. मशीन ऑपरेटर आऊटसोर्स पर काम कर रहे हैं। उन्होंने मांग रखते हुए कहा कि कर्मचारियों को एक समान नियम के तहत पक्का किया जाए। अगर एक को फायदा मिल सकता है तो बाकी सबको क्यों नहीं? यूनियन नेताओं ने सवाल उठाते कहा कि इससे बाकि कर्मचारियों का भविष्य दाव पर लगा दिया गया है।
मेयर से मुलाकात के बाद धरना खत्म किया
यूनियन प्रतिनिधिमंडल ने मेयर वनीत धीर से मुलाकात की। मेयर ने समस्या का समाधान निकालने के लिए कुछ समय मांगा। लेकिन कर्मचारियों ने दो टूक कहा कि अगर जल्द कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई तो मंगलवार से अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू कर दी जाएगी। यूनियन प्रधान बंटू सभ्रवाल ने कहा वह अब और इंतजार नहीं करेंगे। सभी आऊटसोर्स कर्मचारियों को तुरंत स्थायी किया जाए और उन्हें नियुक्ति पत्र दिए जाएं। अगर उनकी मांगें पूरी नहीं होती तो नगर निगम का एक-एक काम बंद कर देंगे। मेयर से मुलाकात के बाद यूनियन ने धरना प्रदर्शन फिलहाल खत्म कर दिया, अब देखना होगा कि आगे क्या होता है?