चंडीगढ़
जनवरी के दूसरे सप्ताह में पंजाब विधानसभा का एक विशेष सत्र बुलाया गया है। सीएम भगवंत मान ने कहा कि केंद्र सरकार मनरेगा स्कीम में बदलाव करके गरीबों और मजदूरों की रोजी-रोटी छीनने की कोशिश कर रही है, जिससे गरीबों के घरों का चूल्हा बुझने की कोशिश हो रही है। इस मनमानी के खिलाफ पंजाबियों की आवाज उठाने के लिए जनवरी के दूसरे हफ्ते में पंजाब विधानसभा का स्पेशल सेशन बुलाया जाएगा।
सीएम भगवंत मान ने चंडीगढ़ में एक कार्यक्रम में आज 505 मिनी बस परमिट बांटे। स्व-रोजगार के तहत युवाओं को ये परमिट बांटे गए। चार साल में मान सरकार 1165 परमिट बांट चुकी है।
मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने सोशल मीडिया के जरिए इस स्पेशल सेशन का ऐलान किया है। उन्होंने ट्वीट किया, "केंद्र की BJP सरकार गरीबों और मजदूरों की रोजी-रोटी का जरिया 'MGNREGA' स्कीम में बदलाव करके गरीबों के घरों का चूल्हा ठंडा करने की कोशिश कर रही है। इस ज़ुल्म के खिलाफ पंजाबियों की आवाज़ उठाने के लिए जनवरी के दूसरे हफ्ते में पंजाब विधानसभा का स्पेशल सेशन बुलाया जाएगा।"
विपक्ष का धरना प्रदर्शन जारी
इस बिल का विपक्ष ने एकजुट होकर विरोध किया है. टीएमसी ने संसद के बाहर 12 घंटे तक धरना देकर सरकार पर दबाव बनाने की कोशिश की. कांग्रेस ने इसे महात्मा गांधी का अपमान बताया और कहा कि रोजगार गारंटी कानून की आत्मा को खत्म किया जा रहा है. आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह ने कहा कि MNREGA दुनिया की सबसे बड़ी रोजगार योजना थी.
दुनिया की सबसे बड़ी रोजगार देने वाली स्कीम MNREGA थी- संजय सिंह
आप के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने आगे कहा कि जो लोग गांधी को बर्दाश्त नहीं कर सकते वही इस कानून को खत्म कर रहे हैं और महात्मा गांधी भगवान राम के भक्त थे. विपक्ष का आरोप है कि VB-G RAM G Bill ग्रामीण गरीबों को नौकरी की कानूनी गारंटी से वंचित करता है. सरकार के फैसले के खिलाफ संसद के भीतर और बाहर विरोध जारी है और आने वाले दिनों में सियासी टकराव बढ़ने के संकेत हैं.
विपक्ष के जोरदार विरोध के बावजूद संसद ने बृहस्पतिवार को ‘विकसित भारत गारंटी रोजगार और आजीविका मिशन (ग्रामीण)’ यानी ‘वीबी–जी राम जी’ विधेयक पारित कर दिया। यह विधेयक 20 वर्ष पुराने महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) का स्थान लेगा और इसमें प्रति वर्ष 125 दिनों के ग्रामीण मजदूरी रोजगार की गारंटी दी गई है।
लोकसभा में ‘वीबी-जी राम जी’ विधेयक के पारित होने के कुछ घंटों बाद ही इसे बृहस्पतिवार देर रात राज्यसभा ने भी ध्वनि मत से पारित कर दिया। इस दौरान विपक्ष ने मौजूदा योजना से महात्मा गांधी का नाम हटाए जाने को लेकर कड़ा विरोध जताया और केंद्र सरकार पर राज्यों पर अतिरिक्त वित्तीय बोझ डालने का आरोप लगाया।

