दरभंगा
बिहार में नई सरकार के गठन के बाद भूमाफिया और बालू माफिया के खिलाफ सख्त कार्रवाई शुरू हो गई है। इसी कड़ी में सरकार द्वारा जिन टॉप–10 भू माफियाओं की संपत्तियां जब्त करने की सूची प्रवर्तन निदेशालय (ED) को भेजी गई है, उसमें दरभंगा के रिजवान उर्फ राजा का नाम सबसे ऊपर बताया जा रहा है।
सरकारी सूत्रों के मुताबिक, दरभंगा जिले के बहादुरपुर प्रखंड के मोदामपुर एकमीघाट निवासी मोहम्मद रिजवान उर्फ राजा को प्रदेश का बड़ा भूमाफिया माना जा रहा है। वह फिलहाल पिछले दो वर्षों से जेल में बंद है। रिजवान पर जमीन के अवैध कारोबार और धोखाधड़ी से जुड़े करीब 32 आपराधिक मामले दर्ज बताए जा रहे हैं।
आरोप है कि रिजवान ने अवैध रूप से अर्जित संपत्तियों से आलीशान मकान बनवाया है, जहां उसने अपने नाम के साथ जदयू के तीर निशान वाली बड़ी तस्वीर भी लगवा रखी है। इस मामले को लेकर इलाके में काफी चर्चा है।
पीड़ित व्यवसायी ने लगाए गंभीर आरोप
दरभंगा के बड़े व्यवसायी दिनेश दारुका ने सामने आकर रिजवान उर्फ राजा पर गंभीर आरोप लगाए हैं। पीड़ित के अनुसार, एक जमीन के सौदे में उन्होंने 60 लाख रुपये दिए थे, जबकि उस जमीन का कुल सौदा 5 करोड़ 60 लाख रुपये में तय हुआ था। आरोप है कि इसके बावजूद उसी जमीन पर किसी अन्य व्यक्ति से भी 1 करोड़ 40 लाख रुपये लिए गए। यह मामला फिलहाल अदालत में विचाराधीन है। सरकार द्वारा संपत्ति जब्ती की प्रक्रिया आगे बढ़ने के बाद पीड़ितों में यह उम्मीद जगी है कि अदालत के फैसले के बाद उन्हें उनका पैसा वापस मिल सकता है।
आरोपी के भाई ने आरोपों को बताया साजिश
आरोपी के भाई शम्स तबरेज ने सभी आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि रिजवान के नाम पर कोई संपत्ति नहीं है। उन्होंने दावा किया कि जो संपत्तियां दिखाई जा रही हैं, वे पूर्वजों की हैं। साथ ही उन्होंने यह भी स्वीकार किया कि रिजवान उर्फ राजा जमीन के कारोबार में सक्रिय था, लेकिन उनका कहना है कि साफ-सुथरे कारोबार में भी कई बार झूठे आरोप लग जाते हैं। शम्स तबरेज ने कई मामलों को साजिश करार दिया। फिलहाल, राज्य सरकार की सख्ती और ED को भेजी गई सूची के बाद दरभंगा समेत पूरे बिहार में भूमाफियाओं के खिलाफ कार्रवाई को लेकर माहौल गरमाया हुआ है।

