चंडीगढ़
नए साल के पहले महीने यानी जनवरी में होने वाले चंडीगढ़ नगर निगम मेयर चुनाव से पहले आम आदमी पार्टी को बड़ा झटका लगा है. पार्टी की दो महिला पार्षदों ने भाजपा का दामन थाम लिया है. वार्ड नंबर 16 से पूनम देवी और वार्ड नंबर 4 से सुमन शर्मा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मजबूत नेतृत्व और केंद्र सरकार की कल्याणकारी नीतियों से प्रभावित होकर बीजेपी का दामन थामने की बात कही है. दोनों पार्षदों को चंडीगढ़ बीजेबी कार्यालय में पार्टी अध्यक्ष जितेंद्र पाल मल्होत्रा ने सदस्यता दिलाई. इस दल-बदल से नगर निगम में बीजेपी की ताकत बढ़कर 18 पार्षद हो गई है, जबकि पहले 16 थी. चंडीगढ़ नगर निगम में कुल 35 निर्वाचित पार्षद हैं. मेयर चुनाव में चंडीगढ़ सांसद का वोट भी मान्य होता है, जिससे कुल वोटिंग 36 होती है. मेयर बनने के लिए 19 वोटों की जरूरत है. अब बीजेपी बहुमत के आंकड़े से महज एक वोट दूर है.
चंडीगढ़ मेयर पद पर है नजर
दूसरी तरफ, AAP के पार्षद घटकर 11 रह गए हैं, जबकि कांग्रेस के छह पार्षद हैं. सांसद मनीष तिवारी कांग्रेस के हैं, इसलिए AAP-कांग्रेस गठबंधन के पास भी कुल 18 वोट हैं. निगम में नौ नामित पार्षद भी हैं, लेकिन उनके पास वोटिंग अधिकार नहीं है. यह चुनाव इसलिए भी रोचक है क्योंकि इस बार वोटिंग सीक्रेट बैलेट पेपर से नहीं, बल्कि हाथ उठाकर (शो ऑफ हैंड्स) से होगी. इससे क्रॉस-वोटिंग की गुंजाइश कम हो जाएगी और पार्टियां अपने पार्षदों पर बेहतर नियंत्रण रख सकेंगी. देखना दिलचस्प होगा कि क्या चुनाव से पहले कांग्रेस या AAP से कोई और पार्षद बीजेपी में शामिल होता है या नहीं.
पार्षद पूनम देवी ने कहा कि आप में उनकी कोई सुनवाई नहीं हो रही थी. आप-कांग्रेस गठबंधन के बाद से पार्टी अपने पार्षदों की अनदेखी कर रही है, इसलिए उन्होंने बीजेपी जॉइन की. वहीं, सुमन शर्मा ने कहा कि वे बीजेपी की नीतियों से प्रभावित हैं और उनके पति पहले से ही बीजेपी में हैं.

